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सॊदेश



मह अ्मॊत हर्ष की फात है कक कार्भषक औय रर्िऺण विबाग बायत सयकाय

भं याजबार्ा हहॊदी को सॊविधान की अऩेऺाओॊ के अनुूऩ रबािी ूऩ से उऩमोग
कयने की हदिा भं एक भह्िऩूणष बूर्भका ननबा यहा है। रमासं की इसी श्रॊखरा भं

विबाग के याजबार्ा अनुबाग ्िाया एक विबागीम याजबार्ा ई-ऩरिका “कौिर”

ननकारी जा यही है जो याजबार्ा हहॊदी के रचाय-रसाय भं सहामक सारफत होने के

साथ-साथ कार्भषकं को अऩनी याजबार्ा हहॊदी भं कामष कयने भं गौयिा्वित भहसूस

कयाने तथा अऩने विचायं को सरजना्भक ढॊग से र्तुत कयने हेतु एक भह्िऩूणष

भॊच रदान कयेगी।

आज वि्ि ्तय ऩय बार्ा के ूऩ भं हहॊदी के भह्ि को भावमता रदान की

जा यही है औय वि्ि की रभुख बार्ाओॊ भं हहॊदी बार्ा को गगना जाता है। ककसी

बी देि के र्रए मह अ्मॊत आि्मक है कक िहाॊ के जनभानस की बार्ा िहाॊ के

सयकायी तॊि की बार्ा बी हो ्जससे सभाज औय सयकाय के फीच ऩय्ऩय सॊिाद

सयर औय सुगभ फना यहे। बायत एक फहबार्ी देि है ्जसभं अनेकं बार्ाएॊ फोरी

जाती है रेककन हहॊदी सॊऩूणष बायत को जो़ने िारी एक सॊऩकष बार्ा का ्थान

यखती है।

भेया मह वि्िास है कक विबाग की मह ऩरिका ्जन उद्दे्मं के र्रए राई

जा यही है िह इन सबी उद्दे्मं को हार्सर कयने भं सपर होगी। कौिर ऩरिका

के रथभ अॊक के सपर रकािन हेतु भेयी हाहदषक िुबकाभनाएॊ।




डॉ. जजतंर ससॊह

या्म भॊरी (कासभिक)
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