Page 30 - kaushal
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सैफ़ाथन-सपाई की भैयाथन
2 अतिूफय आने िारा था। हय सार की तयह इस सार बी ्ि्छ बायत
अर्बमान श्ी कदभ के दफ्तय भं भनामा जाने िारा था। बायत के रधानभॊिी श्ी
नयंर भोदी ्िाया 2 अतिूफय 2014 को "्ि्छ बायत र्भिन" को याटरीम आॊदोरन
के ूऩ भं देि भं रॉवच ककमा गमा था। नई हदकरी भं याजऩथ भं ्ि्छ बायत
र्भिन िुू कयने के फाद श्ी नयंर भोदी ने कहा था कक "्ि्छ बायत 2019 भं
भहा्भा गाॊधी को अऩनी 150िीॊ जमॊती ऩय उव हं सिषश्ेटठ श्धॎधाॊजर्र अवऩषत कयेगा।"
इस घोर्णा के साथ ही इस ्ि्छ बायत अर्बमान की िुुआत सफ जगह हई।
ु
हय वि्मारम, दफ्तय, सॊ्थान तथा अवम सबी जगहं ऩय मह अर्बमान जोय-िोय
से िुू ककमा गमा था। गरी-भोहकरं भं ऩो्िय रगाए गए। अऽफायं भं इ््तहाय
ननकारे गए। रोगं को जागूक कयने की बयसक कोर्िि की गई। इस अर्बमान
के तहत ही श्ी कदभ के दफ्तय भं हय सार 2 अतिूफय मानन कक गाॊधी जमॊती ऩय
कभषचारयमं को ्ि्छता फनामे यखने की िऩथ हदराई जाती थी। साथ ही साथ
उस ऩूये हदन दफ्तय के गर्रमायं तथा रॉवस को साफ़ ककमा जाता था। इस ऩूयी
किामद के फाद उस हदन तो ऩूया दफ्तय चभक उठता रेककन उस के क ु छ हदन
फाद कपय िही सफ। चायं ओय गॊदगी। कहीॊ ऩय कोई कागज ऩ़ा हआ, कहीॊ ऩय
ु
कोई ऩॉरीगथन।
श्ी कदभ अऩने दफ्तय के “्ि्छता अनुबाग” भं कामषयत थे। उनका कामष
दफ्तय की ्ि्छता को फनामे यखने के र्रए नए-नए ननमभ तथा कानून फनाता
था, साथ ही साथ िहाॊ के कभषचारयमं को जागूक कयना। मह अनुबाग 2014 भं
रधानभॊिी जी के "्ि्छ बायत र्भिन" की घोर्णा के फाद ही खोरा गमा था।
अत: इस नए अनुबाग के कामष के रनत कोई ्मादा ूगच बी नहीॊ हदखाता था।
रोगं की भानर्सकता तथा आदतं को फदर ऩाना ककतना भु््कर होता है, इसका
अनुभान श्ी कदभ को इस नए अनुबाग भं आकय होने रगा था।
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2 अतिूफय आने िारा था। हय सार की तयह इस सार बी ्ि्छ बायत
अर्बमान श्ी कदभ के दफ्तय भं भनामा जाने िारा था। बायत के रधानभॊिी श्ी
नयंर भोदी ्िाया 2 अतिूफय 2014 को "्ि्छ बायत र्भिन" को याटरीम आॊदोरन
के ूऩ भं देि भं रॉवच ककमा गमा था। नई हदकरी भं याजऩथ भं ्ि्छ बायत
र्भिन िुू कयने के फाद श्ी नयंर भोदी ने कहा था कक "्ि्छ बायत 2019 भं
भहा्भा गाॊधी को अऩनी 150िीॊ जमॊती ऩय उव हं सिषश्ेटठ श्धॎधाॊजर्र अवऩषत कयेगा।"
इस घोर्णा के साथ ही इस ्ि्छ बायत अर्बमान की िुुआत सफ जगह हई।
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हय वि्मारम, दफ्तय, सॊ्थान तथा अवम सबी जगहं ऩय मह अर्बमान जोय-िोय
से िुू ककमा गमा था। गरी-भोहकरं भं ऩो्िय रगाए गए। अऽफायं भं इ््तहाय
ननकारे गए। रोगं को जागूक कयने की बयसक कोर्िि की गई। इस अर्बमान
के तहत ही श्ी कदभ के दफ्तय भं हय सार 2 अतिूफय मानन कक गाॊधी जमॊती ऩय
कभषचारयमं को ्ि्छता फनामे यखने की िऩथ हदराई जाती थी। साथ ही साथ
उस ऩूये हदन दफ्तय के गर्रमायं तथा रॉवस को साफ़ ककमा जाता था। इस ऩूयी
किामद के फाद उस हदन तो ऩूया दफ्तय चभक उठता रेककन उस के क ु छ हदन
फाद कपय िही सफ। चायं ओय गॊदगी। कहीॊ ऩय कोई कागज ऩ़ा हआ, कहीॊ ऩय
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कोई ऩॉरीगथन।
श्ी कदभ अऩने दफ्तय के “्ि्छता अनुबाग” भं कामषयत थे। उनका कामष
दफ्तय की ्ि्छता को फनामे यखने के र्रए नए-नए ननमभ तथा कानून फनाता
था, साथ ही साथ िहाॊ के कभषचारयमं को जागूक कयना। मह अनुबाग 2014 भं
रधानभॊिी जी के "्ि्छ बायत र्भिन" की घोर्णा के फाद ही खोरा गमा था।
अत: इस नए अनुबाग के कामष के रनत कोई ्मादा ूगच बी नहीॊ हदखाता था।
रोगं की भानर्सकता तथा आदतं को फदर ऩाना ककतना भु््कर होता है, इसका
अनुभान श्ी कदभ को इस नए अनुबाग भं आकय होने रगा था।
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